शनिवार, 15 सितंबर 2012

शाबास आरती यादव..!!

कहते हैं नारी बड़ी सौम्य और धैर्यवान होती है, पर जब नारी की अस्मिता से खिलवाड़ होता है तो उसे रणचंडी बनने में देर नहीं लगती. ऐसा ही एक वाकया हुआ प्रयाग की धरा पर, जहाँ छेड़छाड़ से आजिज एक छात्रा आरती यादव ने 14 सितम्बर, 2012 को दुर्गा का रूप धारण कर शोहदे को सबक सिखा दिया। वस्तुत: इलाहाबाद विश्वविद्यालय की छात्रा आरती यादव को कटरा का रहने वाला विवेक रोज परेशान करता था। विश्वविद्यालय और घर जाने के दौरान वह छेड़छाड़ करता था। घटना के दिन आरती यादव को कचहरी के पास विवेक ने आगे बाइक लगाकर रोक लिया। पानी सिर से ऊपर होने पर आरती ज्वाला बन गई। उसने चप्पल उतार विवेक को पीटना शुरू कर दिया। सड़क से ईंट उठाकर उसे मारा। आरती का रौद्ररूप देख विवेक के होश उड़ गए। वह बाइक छोड़ भाग खड़ा हुआ। घटना से हंगामा मच गया और भारी भीड़ जमा हो गई। भीड़ के बीच आरती ने हिम्मत दिखाते हुए विवेक की बाइक को ईंट से कूंचा, फिर पेट्रोल छिड़कर उसमें आग लगा दी। भरे बाजार लड़की के बाइक फूंकने से हंगामा मच गया। लोगों ने आरती को रोकने की कोशिश लेकिन वह भिड़ी रही। अंतत: पुलिस ने पहुंच कर मामला संभाला।


सुल्तानपुर की रहने वाली आरती यादव इलाहबाद शहर के बेली इलाके में रहकर इविवि से बीए तृतीय वर्ष की पढ़ाई कर रही है। पुराना कटरा का रहने वाला विवेक सिंह उर्फ जोंटी आरती को रोज परेशान करता था। कालेज या फिर घर जाने के दौरान विवेक आरती के पीछे लग जाता। कभी उससे मोबाइल नंबर मांगता तो कभी लेटर देने की कोशिश करता। आरती खामोश रहकर काफी दिन सहती रही। घटना के दिन आरती विक्रम से कालेज के लिए निकली। कचहरी स्टैंड पर वह उतरी तो विवेक बाइक लेकर आ गया। वह आरती के पीछे लग गया। कचहरी से नेतराम जाने वाली सड़क पर उसने आगे बाइक लगाकर आरती को रोक लिया। इसके बाद तो आरती आपे से बाहर हो गई। वह चीखते हुए विवेक से भिड़ गई। चप्पल उतार उसने पीटने लगी। विवेक बाइक छोड़कर भागा तो आरती ईंट उठाकर उसके पीछे दौड़ी। विवेक पर ईंट फेंकने के बाद उसने बाइक में तोड़फोड़ की। बाइक को जमीन पर गिराने के बाद आरती ने पेट्रोल का पाइप खींच दिया। तेल गिरने लगा तो आरती ने उसने आग लगा दी। बाजार के बीच बवाल देख लोग दंग रह गए। कई लोगों ने आरती को हटाने की कोशिश की लेकिन वह नहीं मानी। मामले की खबर पाकर पुलिस पहुंच गई और आरती की तहरीर पर कर्नलगंज थाने में विवेक के खिलाफ छेड़छाड़ और मारपीट की कोशिश का मामला दर्ज किया.

इस घटना ने एक बार पुन: सिद्ध कर दिया है कि नारी कमजोर नहीं बल्कि सहनशील मात्र होती है, जिसका कि सम्मान किया जाना चाहिए. इस घटना के बाद आजकल इलाहबाद में सर्वत्र चर्चा है और लोगों की जुबान पर है- शाबास आरती !!

- राम शिव मूर्ति यादव : यदुकुल

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