अपना खून किसे नहीं प्यारा होता है, पर यदि कोई अपना खून देकर दूसरों की जिंदगी बचाने का प्रयास करे तो इसे एक सकारात्मक कदम ही कहेंगे। ऐसे ही एक शख्स हैं- राम किशोर यादव। नेहरू युवा केन्द्र फैजाबाद के जिला युवा समन्वयक राम किशोर यादव ने वर्ष 2000 में किसी अखबार में खबर पढ़ी कि स्थानीय ब्लडबैंक में कतई रक्त नहीं है। इस घटना ने उनकी संवेदना को इस तरह झकझोरा कि स्वैच्छिक रक्तदान की अलख जगाना उनकी जिन्दगी का मकसद बन गया। इससे प्रेरणा लेकर उन्होंने हर ब्लाक में दस-दस युवाओं की टीमें तैयार कर दीं, जो नियमित रूप से रक्तदान करते हैं। सबसे खास बात यह है कि इस अभियान के लिए उन्हें किसी फंड की जरूरत नही पड़ी।
राम किशोर यादव के इस अथक प्रयास से फैजाबाद जिला अस्पताल का ब्लडबैंक अब प्रदेश के उन ब्लडबैंकों में शुमार किया जाता है, जहां कभी रक्त की कमी नहीं पड़ती। राम किशोर यादव अब तक करीब 1500 यूनिट रक्तदान करवा चुके हैं। उनसे प्रेरित रक्तदाताओं में फैजाबाद में मंडलायुक्त रहे आईएएस अधिकारी अरूण कुमार सिन्हा, डीएम रहे आलोक कुमार, दीपक कुमार, आमोद कुमार, एसएसपी रहे प्रशान्त कुमार तथा कई अन्य प्रशासनिक अधिकरी शामिल हैं। राम किशोर यादव ने फैजाबाद व आसपास के जिलों में करीब दस हजार युवाओं को प्रेरित कर रखा है जो किसी भी वक्त रक्तदान करने को तैयार रहते हैं। उनके रजिस्टर में करीब एक हजार स्वैच्छिक रक्तदाताओं के नाम, पते व ब्लडग्रुप दर्ज है, जिन्हें जरूरत के मुताबिक याद किया जाता है।
राम किशोर यादव की दिलीख्वाहिश है कि उनके अभियान को गति देने के लिए कोई मुख्यमंत्री फैजाबाद तशरीफ लाए, जिन्हें वह उनके वजन बराबर रक्त से तौलना चाहते हैं। इसके लिए उन्होंने चार मुख्यमंत्रियों को पत्र भी लिखे, पर जवाब नहीं आया। खैर, उनका हौसला बरकरार है। वह ऐसी व्यवस्था चाहते हैं, जिससे फैजाबाद जिला अन्य जिलों के ब्लडबैंकों को रक्त की आपूर्ति कर सके। फिलहाल वह लखनऊ के एसजीपीजीआई, चिकित्सा विश्वविद्यालय तथा राम मनोहर लोहिया अस्पताल के साथ समन्वय स्थापित करने का प्रयास कर रहे हैं, ताकि उनकी अलख दूर-दूर तक रोशनी बिखेर सके।
यदुकुल की तरफ से राम किशोर यादव को शुभकामनायें कि वे अपने नेक कार्य में सफल हों।
3 टिप्पणियां:
Yah to bahud nek karya hai...badhai.
Yee paad kar gurv see seena chooda ho gyaa.
Bhagwan unhe shakti and samarthya pradan kare
Bahut khub ap yun hi samaj men roshni failate rahen.
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